Patna News: राजधानी में गुरुवार का दिन प्रशासनिक गतिविधियों के लिहाज़ से बेहद कड़ा रहा. जिला मुख्यालय में आयोजित जनता दरबार में डीएम डॉ. त्यागराजन एसएम और ग्रामीण इलाकों के लिए तैनात एसपी अपराजिता लोहान के सामने बड़ी संख्या में लोग ज़मीन, रसीद, अतिक्रमण और रंगदारी जैसी समस्याओं को लेकर पहुंचे.
अधिकारियों ने शिकायतें सुनते ही कई मामलों में तत्काल निर्देश दिए और यह साफ किया कि लापरवाही और दबंगई के मामलों में अब किसी तरह की रियायत नहीं दी जाएगी.
जमीन की रसीद रोकने का आरोप, डीएम ने जांच बैठाई
जनता दरबार में सबसे पहले बिहटा के सुनील राम ने पेश होकर बताया कि कर्मचारी मनीष कुशवाहा उनकी जमीन की रसीद काटने में बाधा डाल रहे हैं. शिकायत के समर्थन में लिखित पत्र सौंपे जाने पर डीएम ने बिहटा सीओ को त्वरित जांच का आदेश दिया.
उन्होंने कहा कि यदि कर्मचारी ने जानबूझकर रसीद रोकी है तो उसके विरुद्ध विभागीय स्तर पर कठोर कार्रवाई होगी.
डीएम के समक्ष 65 से अधिक शिकायतें दर्ज हुईं, जिनमें अधिकतर जमीन के निबंधन, सीमांकन, अतिक्रमण और रास्ता बंद होने जैसे मामलों से जुड़ी थीं. गौरीचक के राकेश कुमार ने आरोप लगाया कि उनकी जमीन पर कब्जा कर लिया गया है और प्लॉट नंबर 31 का रास्ता अवरुद्ध कर दिया गया है. इस पर डीएम ने पुनपुन सीओ को मौके पर निरीक्षण कर रिपोर्ट देने का निर्देश दिया.
जिलाधिकारी, पटना द्वारा समाहरणालय में आयोजित ‘जिला जनता दरबार’ में लोगों से मिलकर उनकी समस्याओं को सुना गया तथा समाधान की कार्रवाई की गई। पदाधिकारियों को पारदर्शिता, उत्तरदायित्व एवं संवेदनशीलता के साथ जन–शिकायतों का गुणवत्तापूर्ण समाधान करने का निदेश दिया गया।#PublicInterest… pic.twitter.com/4qgQKnTHUl
— District Administration Patna (@dm_patna) December 11, 2025
इसी तरह ध्रुव कुमार ने निबंधन रोकने की शिकायत की, जिस पर डीएम ने फोन पर ही जिला अवर निबंधक को कार्रवाई के लिए कहा.
ग्रामीण एसपी के दरबार में सबसे ज्यादा मामले जमीन कब्जा और रंगदारी के
ग्रामीण क्षेत्रों की शिकायतों के लिए एसपी अपराजिता लोहान ने गांधी मैदान स्थित एसएसपी कार्यालय में जनता दरबार लगाया. बाढ़ और मोकामा सहित आसपास के इलाकों से आए लोगों ने बताया कि खेत तक पहुंचते ही दबंग रंगदारी मांगते हैं और बोआई तक नहीं करने देते.
एक किसान की शिकायत पर एसपी ने तुरंत संबंधित थानेदार को फोन कर जांच और कार्रवाई का आदेश दिया.
जनता दरबार में 15 शिकायतें दर्ज हुईं, जिनमें अधिकतर पुराने मामलों की लंबित कार्रवाई, अवैध कब्जा तथा धमकी से जुड़े मामले थे.
सुनवाई के दौरान एक थानेदार की लापरवाही उजागर होने पर एसपी ने उसे मौके पर ही शोकॉज कर दिया. उन्होंने कहा कि रिपोर्ट समय पर नहीं मिली तो निलंबन तक की कार्रवाई की जाएगी.
प्रशासन की दो-टूक: लापरवाही नहीं चलेगी, जमीन विवाद और रंगदारी पर जीरो टॉलरेंस
डीएम और एसपी दोनों के फैसलों से साफ संकेत मिला कि अब पटना में जमीन विवाद, रसीद रोकने, रंगदारी और अतिक्रमण जैसे संवेदनशील मामलों में ढिलाई नहीं बरती जाएगी.
जनता दरबार में जिस तेज़ी से कार्रवाई के निर्देश दिए गए, उससे यह जाहिर है कि आने वाले दिनों में प्रशासन और भी कड़े कदम उठा सकता है.
पटना प्रशासन ने यह स्पष्ट कर दिया है कि दबंगई और विभागीय लापरवाही पर अब सीधे कार्रवाई होगी, चेतावनी नहीं.
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