Bihar Election 2025: बिहार में विधानसभा चुनाव नजदीक आते ही राजनीतिक दलों में हलचल तेज हो गई है. बुधवार को बीजेपी के वरिष्ठ नेता और पीरपैंती (सुरक्षित) सीट से विधायक ललन कुमार ने पार्टी छोड़कर राष्ट्रीय जनता दल (RJD) की सदस्यता ग्रहण कर ली. नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी प्रसाद यादव ने उन्हें पटना स्थित आरजेडी कार्यालय में पार्टी की सदस्यता दिलाई. इसके बाद ललन कुमार ने पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी से भी मुलाकात की.
“तेजस्वी ही वर्तमान हैं, तेजस्वी ही भविष्य”
आरजेडी में शामिल होने के बाद ललन कुमार ने सोशल मीडिया पर अपनी तस्वीरें साझा कीं, जिनमें वे तेजस्वी यादव और राबड़ी देवी के साथ नजर आए. उन्होंने पोस्ट में लिखा—
“राष्ट्रीय जनता दल का कारवां आगे बढ़ रहा है, और आज से मैं भी इस यात्रा का हिस्सा हूं. तेजस्वी मय बिहार बनाना है, यह हमारा संकल्प है. तेजस्वी ही वर्तमान हैं, तेजस्वी ही भविष्य.”
टिकट कटने से नाराज थे ललन कुमार
सूत्रों के अनुसार, इस बार बीजेपी ने पीरपैंती सीट से मुरारी पासवान को उम्मीदवार घोषित किया था, जिससे ललन कुमार नाराज थे. टिकट कटने के बाद से ही उन्होंने पार्टी से दूरी बना ली थी. बीते कुछ महीनों में उनके बयानों और सोशल मीडिया पोस्ट से भी असंतोष साफ झलक रहा था.
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बीजेपी छोड़ने के बाद अपने फेसबुक पोस्ट में ललन कुमार ने लिखा था—
“भाजपा के साथ मेरी राजनीतिक यात्रा यहीं समाप्त होती है. मैंने पार्टी के प्रति पूर्ण निष्ठा से काम किया, पर अब लगता है कि पार्टी को मुखर दलित नेतृत्व की आवश्यकता नहीं रही.”
राजनीतिक विश्लेषक इसे बीजेपी के भीतर दलित नेतृत्व की उपेक्षा पर ललन कुमार का सीधा संकेत मान रहे हैं.
तेजस्वी यादव बोले—बिहार को नई दिशा देने वालों का स्वागत
आरजेडी में शामिल करते हुए तेजस्वी यादव ने कहा—
“हम उन सभी लोगों का स्वागत करते हैं जो बिहार को नई सोच और दिशा देना चाहते हैं. ललन कुमार जैसे प्रतिबद्ध और सामाजिक न्याय के पक्षधर नेता पार्टी की ताकत बढ़ाते हैं. मिलकर हम नया बिहार बनाएंगे.”
आरजेडी का मानना है कि इस कदम से दलित वर्ग और स्थानीय वोट बैंक में पार्टी की पकड़ और मजबूत होगी.
बदलेगा राजनीतिक समीकरण
ललन कुमार के आरजेडी में जाने से भागलपुर, अंग और सीमांचल क्षेत्र की राजनीति पर असर पड़ सकता है. 2015 और 2020 दोनों चुनावों में पीरपैंती सीट पर बीजेपी को जीत मिली थी, लेकिन इस बार समीकरण बदलने के संकेत मिल रहे हैं. आरजेडी को उम्मीद है कि ललन कुमार का जुड़ना उसके लिए सामाजिक संतुलन और क्षेत्रीय प्रभाव दोनों बढ़ाएगा.
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